गीता दर्शन
श्रीमद्भगवद्गीता भारतीय वाङ्मय का अमूल्य रत्न है, जो मानव जीवन के प्रत्येक पक्ष को समान रूप से आलोकित करता है । यह दो अभिन्न सखाओं की अन्तरंग वार्त्ता है, गुरु द्वारा शिष्य को दिया गया अमोघ जीवनमंत्र है तथा भक्त के प्रति भगवान की अहैतुकी कृपा है । गीता पर अनेक टीकाएँ हैं । विषाद योग नामक पहले अध्याय, भक्ति योग नामक बारहवें अध्याय और पुरुषोत्तम योग नामक पन्द्रहवें अध्याय पर स्वामी निरंजनानन्द सरस्वती की प्रस्तुत टीका जटिल दार्शनिक विवेचन नहीं, वरन् भवसागर की उतुंग लहरों में जूझते मानव की सहायता के निमित्त बढ़ा हाथ है । योग की पृष्ठभूमि में सरल भाषा व्यावहारिक दृष्टि और मनोवैज्ञानिक युक्तियों की प्रस्तुति ने गीता के गूढ़ ज्ञान को सर्वसुलभ बना दिया है । नित्य अध्यवसाय के लिए उपयुक्त यह ग्रन्थ पग-पग पर साधक के विचारों, भावनाओं और कर्मों को उचित दिशा में प्रेरित कर शाश्वत सुख, शान्ति और आनन्द की प्राप्ति का मार्ग प्रशस्त करता है ।
लेखक परिचय
स्वामी निरंजनानन्द सरस्वती
सन् 2009 से स्वामी निरंजनानन्द सरस्वती के जीवन का एक नया अध्याय प्रारम्भ हुआ है और मुंगेर में योगदृष्टि सत्संग शृंखला के अन्तर्गत योग के विभिन्न पक्षों पर दिये गये प्रबोधक व्याख्यान स्वामीजी की इसी नयी जीवनशैली के अंग हैं ।
हिमालय पर्वतों के सुरम्य, एकान्तमय वातावरण में गहन चिंतन करने के बाद स्वामीजी ने गंगा दर्शन लौटकर जून 2010 की योगदृष्टि सत्संग शृंखला में प्रवृत्ति एवं निवृत्ति-मार्ग को अपने सत्संगों का विषय चुना । उनके विवेचन की शुरुआत एक प्रतीकात्मक कथा से होती है जिसका मुख्य नायक, आत्माराम, अपने गन्तव्य, ब्रह्मपुरी की ओर यात्रा कर रहा है । इस कथा को आधार बनाकर स्वामीजी ने बहुत सुन्दर ढंग से प्रवृत्ति तथा निवृत्ति मार्ग के मुख्य लक्षणों, साधनाओं और लक्ष्यों का निरूपण किया है । सांसारिक जीवन जीते हुए भी किस प्रकार सुख, सामंजस्य और संतुष्टि का अनुभव किया जा सकता है; जीवन के किस मोड़ पर साधक वास्तविक रूप से आध्यात्मिक मार्ग पर आता है; और साधक की इस यात्रा में मार्गदर्शक की क्या भूमिका होती है - आध्यात्मिक जीवन से सम्बन्धित इन सभी आधारभूत प्रश्नों का उत्तर इन सत्संगों में निहित है ।
For privacy concerns, please view our Privacy Policy
Hindu (हिंदू धर्म) (12523)
Tantra ( तन्त्र ) (990)
Vedas ( वेद ) (708)
Ayurveda (आयुर्वेद) (1896)
Chaukhamba | चौखंबा (3353)
Jyotish (ज्योतिष) (1447)
Yoga (योग) (1100)
Ramayana (रामायण) (1391)
Gita Press (गीता प्रेस) (731)
Sahitya (साहित्य) (23104)
History (इतिहास) (8233)
Philosophy (दर्शन) (3387)
Santvani (सन्त वाणी) (2534)
Vedanta ( वेदांत ) (120)
Send as free online greeting card
Email a Friend
Manage Wishlist